न्यूज डेस्क। सरकारी आवास खाली करने के लिए संपदा निदेशालय (डीओई) के नोटिस को चुनौती देने वाली तृणमूल कांग्रेस नेता ने अनुरोध किया कि फिलहाल उन्हें परिसर से बाहर न निकाला जाए क्योंकि वह एक अकेली महिला हैं और यहां एक अस्पताल में उनका इलाज चल रहा है। लेकिन कोर्ट ने उनके अनुरोध को नहीं माना।
हाउस नंबर 9B हो गया खाली
महुआ मोइत्रा का हाउस नंबर 9B टेलीग्राफ लेन वाला बंगला आज खाली कर दिया गया। हाईकोर्ट के आदेश के बाद महुआ के वकीलों ने आज बताया कि बंगला बेदखली की कार्रवाई के पहले ही खाली कर दिया गया है।
रिक्शे में गया कुछ सामान
बंगला के खाली करने के वक्त टीएमसी नेता वहां नहीं थीं। महुआ का कुछ सामान तो रिक्शे पर ले जाया गया। गौरतलब है कि पैसे के बदले सवाल पूछने के मामले में संसद ने टीएमसी नेता की सांसदी छीन ली थी।
मोइत्रा के वकील शादान फरासत ने पत्रकारों से कहा कि टेलीग्राफ लेन पर महुआ मोइत्रा के बंगले 9बी को प्राधिकारियों के पहुंचने से पहले आज सुबह 10 बजे खाली कर दिया गया। बेदखल की कोई कार्रवाई नहीं हुई। फरासत ने कहा कि मकान का कब्जा संपदा निदेशालय के अधिकारियों को सौंप दिया गया है। इस सप्ताह की शुरुआत में संपदा निदेशालय ने मोइत्रा को बंगला खाली करने का नोटिस भेजा था। मोइत्रा को पिछले महीने लोकसभा से निष्कासित किया गया था।
हाईकोर्ट ने नहीं दी थी राहत
महुआ मोइत्रा को गुरुवार को दिल्ली हाईकोर्ट से कोई राहत नहीं मिली। हाईकोर्ट ने संपदा निदेशालय के नोटिस पर रोक लगाने से इनकार कर दिया और उनसे सरकारी बंगला खाली करने के लिए कहा। गौरतलब है कि महुआ ने बीमारी का हवाला देते हुए बंगला खाली करने के लिए वक्त मांगा था। जस्टिस गिरीश कठपालिया ने कहा कि अदालत के समक्ष किसी विशेष नियम का उल्लेख नहीं किया गया है, जो सदस्यता रद्द होने पर सांसदों को सरकारी आवास से बेदखल करने से संबंधित हो।
महुआ की चली गई थी सांसदी
महुआ मोइत्रा को कारोबारी दर्शन हीरानंदानी से कथित तौर पर उपहार लेने और उनके साथ संसद की वेबसाइट की यूजर आईडी और पासवर्ड साझा करने के आरोप में पिछले साल आठ दिसंबर को अनैतिक आचरण का दोषी ठहराया गया था और लोकसभा से निष्कासित कर दिया गया था।