कोरबा। जनता और शासन के बीच सामंजस्य बनाकर जिले के शहरी और ग्रामीण अंचलों का विकास करना ये पहली प्राथमिकता रहती है। उन्होंने अपने कार्यों में आम लोगों को शासन की योजनाओं का लाभ मिले इसे प्राथमिकता से शामिल किया है। जनता और शासन के बीच आपसी संवाद बना रहे दूरियां न रहे ये उनकी कार्यशैली का उद्देश्य है। कोरबा शहर का औद्योगिक विकास करना उसे मॉडल रूप देना उनके कार्यों में शामिल है।
उक्त बातें कलेक्टर अजीत वसंत ने शनिवार को प्रेस क्लब तिलक भवन में प्रेस से मिलिए कार्यक्रम में पत्रकारों से रूबरू होते हुए कही। उन्होंने कहा कि शहर के समुचित विकास और ग्रामीण क्षेत्र के लोगों को विकास की धारा से जोड़ा जाए प्रशासन इस दिशा में कार्य कर रहा है। कोरबा जिला प्रदेश के अन्य जिलों से अलग है, यहां औद्योगिक विकास पहले हुआ और आबादी बाद में बसी। खदानों के पास आबादी, संयंत्रों के पास आबादी का बसना यह उन्होंने यहा देखा है। कोरबा शहर को एक मॉडल रूप देना और अधोसंरक्षना का कार्य करना इस दिशा पर योजना बनाई जा रही है। शहर के साथ-साथ उसके आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों को भी मुख्य रूप से अधोसंरचना विकास में शामिल किया जाएगा। अभी तक उन्होंने जिले के विकास को लेकर भ्रमण किया है और यह महसूस किया है कि बहुत से काम होना अभी बाकी है और उस पर योजनाबद्ध तरीके से कार्य किया जाना है। एसईसीएल की खदानों का विस्तार और भूविस्थापितों की समस्या उनके चुनौती है और वह एसईसीएल और प्रशासन के बीच लगातार इस दिशा पर कार्य कर रहे हैं। कार्यक्रम में पत्रकारों द्वारा शहर की समस्याओं से संबंधित पूछे गए प्रश्नों का भी कलेक्टर अजीत वसंत ने सकारात्मक जवाब दिया। उन्होंने शहर की यातायात समस्या अंडर ब्रिज और बायपास सड़क के लिए योजनाबद्ध तरीके से किए जा रहे कार्यों की जानकारी दी। उन्होंने यह भी बताया कि पायलट प्रोजेक्ट के तहत पोड़ी उपरोड़ा ब्लॉक से प्राईमरी व मीडिल स्कूल के बच्चों को नाश्ता देने की योजना शुरू की गई है। इससे 25 हजार बच्चे लाभांवित होंगे। मेडिकल की कोचिंग के लिए जिले के 100 बच्चों को रायपुर भेजा गया है, टूरिज्म के क्षेत्र में भी कार्य किए जा रहे हैं। कार्यक्रम के पूर्व प्रेस क्लब के संरक्षक मनोज शर्मा, अध्यक्ष राजेन्द्र जायसवा, सचिव नागेन्द्र श्रीवास, उपाध्यक्ष रामेश्वर ठाकुर ने स्वागत किया। वहीं प्रेस क्लब के वरिष्ठ सदस्यों ने स्मृति चिन्ह भेंट किया।