छत्तीसगढ़

कांग्रेस प्रत्याशी रामपुकार सिंह की याचिका पर हुई सुनवाई, गोमती साय व छह अन्य प्रत्याशियों को नोटिस जारी

बिलासपुर। पत्थलगांव विधानसभा से हाल ही के चुनाव में केवल 255 मतों से पराजित घोषित हुए कांग्रेस प्रत्याशी रामपुकार सिंह ने गोमती साय के निर्वाचन को चुनौती दी है। जस्टिस नरेंद्र कुमार व्यास की एकलपीठ जो इलेक्शन ट्रिब्यूनल का कार्य कर रही है। कोर्ट ने प्राथमिक सुनवाई के बाद गोमती साय समेत सभी छह अन्य प्रत्याशियों को नोटिस जारी कर याचिका का जवाब दाखिल करने के निर्देश दिये हैं।

याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता सुदीप श्रीवास्तव और सुदीप वर्मा ने हाईकोर्ट को बताया कि इस चुनाव में पोस्टल बैलेट का हिसाब-किताब नियमानुसार नहीं रखा गया। बड़ी संख्या में याचिकाकर्ता को मिले मत निरस्त घोषित हुए हैं। वहीं, वीवी पैट का मिलान भी ईवीएम से नहीं किया गया है। मामले की अगली सुनवाई चार सप्ताह बाद 28 फरवरी को नियत की गई है।

गौरतलब है कि इस मामले में याचिकाकर्ता द्वारा लगाया गया रिकाउंटिंग का आवेदन भी रिटर्निंग ऑफिसर ने रद्द कर दिया था। अन्य सभी आवश्यक दिशा-निर्देशों का उल्लंघन कर याचिकाकर्ता या उसके इलेक्शन एजेंट को बिना जानकारी दिये परिणाम घोषित कर गोमती साय को निर्वाचित घोषित किया। याचिकाकर्ता ने अपनी याचिका में गोमती साय और उनके चुनाव अभिकर्ता तथा भाजपा के पदाधिकारियों पर याचिकाकर्ता के खराब स्वास्थ्य की अफवाह फैलाना का भी आरोप लगाया है। इसके कारण या तो बहुत से समर्थक वोट डालने नहीं गये या फिर उन्होंने किसी और प्रत्याशी को वोट दे दिया।

केवल 255 मतों से निर्धारित हुए इस चुनाव में अन्य दलों और निर्दलिय छः प्रत्याशी चुनाव मैदान में थे। इन सभी राजाराम लकड़ा (आप), इनोसेंट कुजुर (बसपा), अनिल कुमार परहा (हमर राज पार्टी), नेहरू लकड़ा (जोगी कांग्रेस), रथुराम पैकरा निर्दलिय सुनिल कुमार खलखों (भा.मु.पा) को एक हजार से अधिक और कुल मिलाकर 11,500 से अधिक वोट मिले हैं। वहीं, नोटा को भी 3000 से अधिक वोट मिले। याचिकाकर्ता का कहना है कि खराब स्वास्थ्य की अफ़वाह के कारण मुझे मिलने वाले वोट अन्य प्रत्याशियों को चले गये और परिणाम प्रभावित हुआ।

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