Featuredक्राइमछत्तीसगढ़

NTPC लारा पावर प्रोजेक्ट में भू-अर्जन घोटाले पर तत्कालीन SDM तीर्थराज अग्रवाल लगे सभी आरोप खारिज, हाईकोर्ट का बड़ा फैसला

बिलासपुर/रायपुर। बहुचर्चित NTPC लारा पावर प्रोजेक्ट के भूमि अधिग्रहण घोटाले में फंसे रायगढ़ के तत्कालीन एसडीएम तीर्थराज अग्रवाल को हाईकोर्ट ने बड़ी राहत दी है। न्यायमूर्ति अरविंद कुमार वर्मा की एकल पीठ ने अग्रवाल को सभी आपराधिक आरोपों से मुक्त करते हुए उनके खिलाफ रायगढ़ कोर्ट द्वारा 13 जनवरी 2016 को पारित आरोप तय करने का आदेश और 2 दिसंबर 2024 को दाखिल चार्जशीट को रद्द कर दिया है।

0.न्यायिक कार्यवाही को बताया संरक्षण योग्य

कोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि तीर्थराज अग्रवाल द्वारा पारित आदेश राजस्व अधिकारी के न्यायिक कार्य का हिस्सा था। ऐसे मामलों में जजेस प्रोटेक्शन एक्ट, 1985 के तहत उन्हें पूर्ण न्यायिक संरक्षण प्राप्त है, और उनके खिलाफ आपराधिक कार्यवाही नहीं चलाई जा सकती।

याचिकाकर्ता ने केवल राजस्व रिकॉर्ड के आधार पर विधिसम्मत आदेश पारित किया था। राज्य सरकार की ओर से विभागीय जांच भी बंद कर दी गई थी और सभी आरोपों से मुक्त कर दिया गया था। ऐसे मामलों में राजस्व अधिकारी को न्यायिक कार्यों के लिए अपराधी नहीं ठहराया जा सकता।

0.मामला क्या था

1.वर्ष 2013–14 में रायगढ़ के ग्राम झिलगीतर में NTPC लारा परियोजना के लिए 160 हेक्टेयर भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया हुई थी।
2.आरोप था कि मुआवजा वितरण में बड़े पैमाने पर गड़बड़ी की गई। फर्जी किसानों के नाम पर मुआवजा वितरित कर लाखों रुपये की हेराफेरी हुई।
3.आरोपों के आधार पर तत्कालीन SDM तीर्थराज अग्रवाल सहित अन्य के खिलाफ IPC की धारा 420, 467, 468, 471, 120B, 34 और 506B के तहत मामला दर्ज हुआ।
4.हालांकि, हाईकोर्ट को बताया गया कि एफआईआर में अग्रवाल का नाम बाद में जोड़ा गया, और कोई ठोस साक्ष्य उनके खिलाफ नहीं है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button