
बालोद जिले में दशहरा की रात इंसानियत को शर्मसार कर देने वाली वारदात हुई। ग्राम रानीतराई रोड पर अकेली रहने वाली 65 वर्षीय कोटवार देवबती महार की बेरहमी से हत्या कर दी गई। दो आदतन अपराधियों ने पहले उनका गला दबाकर जान ली, फिर लूट के लिए हंसिए से हाथ काटकर चांदी का कंगन निकाल लिया। वारदात के बाद दोनों नशे में चूर होकर लाश के पास चटाई बिछाकर बीड़ी पीते हुए नाच-गाना करते रहे। पुलिस ने फॉरेंसिक जांच के आधार पर राजनांदगांव और बालोद जिले के दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। पूछताछ में उन्होंने अपराध स्वीकार कर लिया।
बालोद। दशहरा की रात बालोद जिले में ऐसी वारदात हुई जिसने इंसानियत को झकझोर दिया। ग्राम रानीतराई रोड के सुनसान इलाके में 65 वर्षीय कोटवार देवबती महार की बेरहमी से हत्या कर दी गई। दो आदतन अपराधी नशेड़ियों ने न केवल उनकी जान ली, बल्कि लूट के लिए हंसिए से हाथ काटकर चांदी का कंगन निकाल लिया। वारदात के बाद दोनों ने लाश के पास चटाई बिछाकर बीड़ी पी और नाच-गाना किया। पुलिस ने दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है।
घटना 6 अक्टूबर की शाम सामने आई, जब ग्रामीणों ने देवबती का शव उनके झोपड़ीनुमा घर में देखा। दरवाजा बाहर से बंद था और भीतर खून के निशान व बिखरा सामान देखकर पुलिस को हत्या का संदेह हुआ।
देवबती गांव की कोटवार थीं और विधवा होने के बाद अकेली रहती थीं। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में गला दबाने से मौत की पुष्टि हुई, जबकि दाहिने हाथ के कटे निशान से लूट की नृशंसता साफ झलकी।
जांच में पुलिस को मौके से हंसिया, खून से सने कपड़े और आधी जली बीड़ी मिली। फॉरेंसिक जांच के बाद दोनों आरोपी – महेंद्र साहू उर्फ गोलू (28) निवासी सुरगी, राजनांदगांव और महेंद्र कुमार साहू (25) निवासी देवरी, बालोद – गिरफ्तार किए गए। दोनों पिछले तीन महीनों से देवबती पर नजर रखे हुए थे और उन्हें शक था कि उनके पास पुराने गहने और नकदी है।
आरोपी गोलू पर अवैध शराब तस्करी, जबकि दूसरे महेंद्र पर तस्करी, मारपीट और चोरी के कई मामले दर्ज हैं।
दशहरा और विजयादशमी की रात, जब पूरा गांव उत्सव में डूबा था, दोनों ने देवबती के घर पहुंचकर दरवाजा खटखटाया। जैसे ही उन्होंने दरवाजा खोला, आरोपियों ने उनका मुंह दबाकर गला मरोड़ दिया। फिर घर में रखे गहने और नकदी लूटे, और जब कंगन नहीं उतरा तो हंसिए से हाथ काटकर ले गए।
पूछताछ में दोनों ने अपराध स्वीकार कर लिया है। पुलिस ने बताया कि वारदात के वक्त दोनों नशे में धुत थे और हत्या के बाद वहीं बैठकर बीड़ी पीते हुए नाचते-गाते रहे।