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कोरबा। लोकतंत्र में मतदान को महादान माना जाता है। जो इसकी अहमियत को समझते हैं, उनके लिए मतदान पहले और बाकी के काम बाद में आते हैं। इसी जागरूकता का अद्भुत उदाहरण कोरबा जिले के सीमावर्ती ग्राम सिरमिना में देखने को मिला। यहाँ एक दूल्हे ने अपनी बारात निकलने से पहले अपने परिवार सहित मतदान किया और फिर बारात रवाना हुई।
दूल्हे का संकल्प: पहले मतदान, फिर बारात
ग्राम सिरमिना के मतदान केंद्र क्रमांक 100 में ग्रामवासी राहुल पिता तुफानी ताम्रकार ने अपनी शादी के दिन भी मतदान को प्राथमिकता दी। बारात निकालने से पहले उन्होंने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। यही नहीं, उनके परिवार के 29 अन्य सदस्यों ने भी अपने मतों का प्रयोग कर लोकतंत्र में अपनी आस्था व्यक्त की। मतदान करने के पश्चात ही बारात रवाना हुई और यह संदेश दिया कि एक जिम्मेदार नागरिक के रूप में मतदान कितना आवश्यक है। उनका विवाह एमसीबी जिले के ग्राम चनवारीडॉड में तय हुआ है, जहां महामाया मंदिर में वे परिणय सूत्र में बंधेंगे।
दूल्हे राहुल ताम्रकार की यह पहल निश्चित रूप से समाज के लिए प्रेरणादायक है और यह संदेश देती है कि नागरिकता का पहला कर्तव्य मतदान करना है।