कोरबा। महादेव एप से आइपीएल में गोवा में बैठकर सट्टेबाजी संचालित करने वाले गिरोह के सदस्यों से पूछताछ में पुलिस को उनके 80 से अधिक बैंक खातों को किराए पर लेने की जानकारी मिली है। इनमें से चार खातेदार कोरबा जिले के ही रहने वाले निकले हैं। इन स्थानीय खातों में भी करोड़ों रुपये के लेनदेन हुए हैं। जांच में सामने आया है कि बेरोजगार व आर्थिक रूप से कमजोर लोगों के बैंक खातों को ही किराए पर लिया गया था। खातेदारों को उनके खातों के उपयोग के बदले किराए के तौर पर प्रति माह 15 हजार रूपये दिए जा रहे थे।
जांच में पता चला है कि इस गिरोह के सदस्यों के तार कई राज्यों से जुड़े हैं। 100 करोड़ के लेनदेन 135 खातों से किए गए हैं। इन खातेदारों के नाम पर खाता खुलवाया गया और मोबाइल नंबर गिरोह के सदस्यों का दे दिया गया। इन खातों का आनलाइन उपयोग गिरोह के सदस्य कर रहे थे। किराए की राशि उनके वास्तविक खाते में हर माह डाल दिया जाता था। किराए के खाते के साथ गिरोह के सदस्य अपने स्वजनाें व परिचितों के खातों का भी उपयोग कर रहे थे। छत्तीसगढ़ में महादेव एप की आइडी नहीं मिलती इसलिए आरोपित गोवा को अपना ठिकाना बना रखे थे। यहां जयराम नगर के उनिया संडेस बिल्डिंग में एक अपार्टमेंट को भाड़े में लिया गया था। कोरबा के डीडीएम मार्ग मे रहने वाले गिरोह के मास्टरमाइंड प्रतीक विधवानी समेत अब तक आठ आरोपित गिरफ्तार किए जा चुके हैं। पुलिस ने अब बैंक खातों को किराए पर देने वालों पर भी शिकंजा कसने की तैयारी कर ली है। छत्तीसगढ़ के साथ मध्यप्रदेश व महाराष्ट्र के खातेदारों का भी खाता किराए पर लिया गया था, उनके खिलाफ भी कार्रवाई करने पुलिस सूची तैयार कर रही है। गिरोह के कुछ और सदस्यों की तलाश में पुलिस की टीम हरियाणा व महाराष्ट्र गई है। कोरबा में भी प्रतीक का साथ देने वाले सहयोगियों की भी जांच हो रही। सट्टे से कमाए गए धन से प्रतीक ने छत्तीसगढ़ समेत अन्य राज्यों में संपत्ति तैयार कर लिया है। इसकी भी जानकारी पुलिस जुटा रही।
फ्रिज किए गए खातों में करीब 30 लाख जमा
पुलिस ने आरोपितों के पास से 40 एटीएम कार्ड व 26 पासबुक बरामद किया है। अब तक 84 खाते पुलिस फ्रीज करा चुकी है। अभी भी कुछ खातों में 30 लाख रुपए जमा है। भविष्य में भी इस राशि को अब निकल नहीं जा सकेगा।