
कोरबा। जिले के एक थानेदार ने सुनियोजित तरीके से जुए के फड़ में फिल्मी अंदाज में एंट्री तो मारी लेकिन जुआ फड़ का विलेन यानी सरगना मौके से फरार हो गया। सरगना की फरारी से साहब के फिल्मी ड्रामा की स्क्रिप्ट मानसपटल में पीटती दिख रही है।

कहते है फिल्म के कहानी को हीरो से ज्यादा ज्यादा विलेन दमदार बनाता है। जब फिल्म में विलेन गायब रहे तो समझो फिल्म का बॉक्स ऑफिस में पीटना तय है। फिल्मी ड्रामे की तरह थानेदार का फिल्मी स्टाइल में एंट्री को आडियंस का प्यार नही मिल पाया।
बात कटघोरा थाना क्षेत्र के पहाड़ी इलाके में लंबे समय से जुए की है। खाकी के आशीर्वाद से चल रहे जुए के फड़ में कटघोरा ही नहीं, पाली, कोरबा, रतनपुर और यहां तक कि पड़ोसी जिला बिलासपुर से जुआरी जुआ खेलने आते हैं। सेटिंग से चल रहे जुए की सुगबुगाहट जन जनमानस के बीच माउथ पब्लिसिटी हुई तो मजबूर थानेदार को फिल्मी ड्रामे की शैली पर चोर को बता और चौकीदार को जगा की कहावत को चरितार्थ करते हुए फिल्मी अंदाज ने रेड की गई। इस कार्रवाई में15 जुआरियों को रंगे हाथों पकड़ा गया।पुलिस ने मौके से एक लाख से ज्यादा नकद राशि, 18 बाइक और एक कार जब्त की है।
सुलगते सवाल, जुआ बड़ा तो जब्ती कैसे कम ?
अब बड़ा सवाल यह उठता है कि जब हर जुआरी औसतन 6 से 7 हजार रुपये लेकर खेल रहा था, तो केवल एक लाख रुपये की बरामदगी होना कई सवाल खड़े करता है. क्या वहां और भी लोग थे जो भागने में सफल रहे? या फिर पूरी रकम का खुलासा नहीं हुआ?



