Featuredकटाक्षछत्तीसगढ़

Green signal to red light: टीआई ट्रांसफर और सिंडिकेट,अफसरों को डरा रहा सतरेंगा का जिन्न..टेंशन ..टेंशन और बार में 7 IPS अफसर,अफसर घराती तो जुआरी हैं बाराती

टीआई ट्रांसफर और सिंडिकेट सुपरकॉप..

 

कहते है किसी के नुकसान में किसी का फायदा छिपा होता है। सो टीआई ट्रांफ़सर में भी सिंडिकेड सुपरकॉप अपने फायदे निकाल गए और अपना उल्लू सीधा करने में सफल रहे।

बात  हाल में हुए थाना और चौकीयो के तबादले की है। कड़क कप्तान की कप्तानी में साहब अपनो के लिए इस कदर मेहरबानी कर गए जो जन चर्चा का विषय बन गया है।

बताते चले कि बल की कमी से जूझ रहे कोरबा को विभाग के निवेदन पर  बिलासपुर आईजी ने दो निरीक्षकों को पदस्थ किया था। 2 टीआई की पोस्टिंग से ग्रह नक्षत्र में उलझे दर्री थाना को सुलझे थानेदार मिलने की उम्मीद थी लेकिन हुआ उल्टा। यही नही दर्री थाना में हुए मौत से मचे बवाल के बाद लाइन अटैच सब इंस्पेक्टर को थाना देकर दोस्ताना के गीत “बने चाहे दुश्मन जमाना हमारा, सलामत रहे…!”  की मीठी धुन सुना गए। अब बात गैर जिले से आये निरीक्षकों की जाए तो वे लाइन में बैठकर वीआईपी ड्यूटी कर दिन काट रहे है।

 जिले में चल रही पुलिसिंग पर पुलिस के चाणक्य ऐसा पहली बार हुआ है की बात कहते हुए संदेश देने का प्रयास कर रहे है। अब बात  अगर पुलिसिंग की जाए थाने में मारपीट, कोयलांचल में डीजल और कोयला आउटर में चावल व रेत का कारोबार लगातार-निरंतर सुर्खियां बटोर रहा है।

 

 

अफसरों को डरा रहा सतरेंगा का जिन्न…

 

कहते सच्चाई छुप नहीं सकती और इसी की सच्चाई तलाशने सेंट्रल एजेंसियों के लिए सतरेंगा टूरिज्म हब बनने की बात कही जा रही है। बचपन में एक कहानी आपने जरूर सुनी होगी कि अलादीन के पास एक चिराग था। जिसे वह जैसे ही घिसता था उसमें से जिन्न निलकर अपने आका के हर काम को चुटकी में कर देता था।

सतरेंगा के राजदार को भी एसीबी ने रंगे नोट के साथ गिरफ्तार किया है जो आईएसएस अफसरो के राज उगलने में अलादीन की चिराग की भूमिका में है। पकड़े राजस्व अधिकारी से राज उगलवाने की तैयारी में ईओडब्ल्यू की टीम उसके करीबियों को घिसने में लगी है।

खबरीलाल की माने तो कुछ हकीकत सामने आ चुकी है और कुछ अभी बाकी है। EOW की नजर अब पूरी तरह से सतरेंगा में छुपी सच्चाई पर टिक गई है। जिन्न जिस तरह अपने आका के गुलाम था पकड़ा गया राजस्व का कर्मचारी भी जांच एंजेसी के इशारे पर नाचने के लिए मजबूर है।

कहा तो यह भी जा रहा है सतरेंगा कि सच्चाई के खेला में आईएएस और राजस्व अधिकारियों के भी तार जुड़े हैं। एसीबी राजस्व अधिकारी के हाथ रंगने के बाद मनी लांड्रिंग से जुड़े अफसर और कारोबारियों के घर लाल करने की तैयारी में है।

 

फड़ में लोकल अफसर घराती तो जुआरी हैं बाराती

 

 

 

एक मशहूर कहावत है “अल्लाह मेहरबान तो गधा पहलवान” ये बाते पड़ोसी जिले के जुआरियों पर फीट बैठता है, क्योंकि पुलिस के छोटे अधिकारी जुआ खेलाने वालो पर मेहरबान है और फड़ लगाने वाला पहलवान बनकर जुआ चलवा रहा है।

सूत्रधारों की माने तो सरकार बदलने के बाद अवैध कारोबारियों पर अंकुश तो लगा लेकिन लोकल सेटिंग पर खाकी का कबाड़ से जुगाड़ और जुआ से घरबार चलाने का धंधा अभी भी गोपनीय तरीक़े से चल रहा है। इस कड़ी में पंतोरा के जंगल में जुआ के फड़ मंथली फैकेज के साथ सज रहे हैं। पड़ोसी जिले में होने वाले जुए में कोरबा के कलाकारों की भी हाथ आजमाने की बात चाय के साथ चर्चा पर है।

सूत्रों की माने तो जंगल मे चल रहे सेटिंग के जुओं पर हीरा की नजर है। जो पुलिस के हर गतिविधि को वॉच करता है।

कहा तो यह भी जा रहा लोकल सेटिंग पर चल रहे बावन   परियों के खेल पर शुक्रवार को खाकी के खिलाड़ियों की नजर लग गई थी , जंगल मे खाकी की एंट्री की सूचना के बाद जुआरी भागने में सफल रहे क्योंकि फड़ पर रेड की रिपोर्ट पहले ही लीक हो चुकी थी।

 

 

टेंशन ..टेंशन और बार में 7 IPS अफसर

 

 

 

इसी सप्ताह नेशनल मीडिया में बस्तर का एक वीडियो जमकर वायरल हो रहा है..लोग इसे लाइक कर नक्सल मोर्चा में तैनात जवानों के हौसलों को सलाम कर रहे हैं। इस वी​डियो में 10 ईनामी नक्सलियों को मार गिराने के बाद फोर्स के लोग अपनी कामयाबी का जश्न मना रहे हैं। वहीं पुलिस मुख्यालय में कुछ मैदानी जिलों के पुअर परफारमेंस से आईपीएस अफसरों से डीजीपी की नाराजगी की चर्चा में है।

बाकी कसर लोकल इंटेलीजेंस के आईजी की उस रिपोर्ट से पूरी हो गई जिसमें बताया गया कि कुछ जिलों में पुलिसिंग कैसे हो रही है। घंटों की बैठक के बाद जब अफसर बाहर निकले, तो सबके चेहरे देखने लायक थे। कहा तो यह भी जा रहा कि डीजीपी कांफ्रेंस के बाद टेंशन मिटाने 7 आईपीएस अफसर एक बार में जाकर गम भुलाते की कोशिश करते नजर आए..। वो करें भी क्या डीजीपी साब की डपट का असर जो है। और गम भुलाने के लिए बार में जानें की मनाही थोड़े ही है। ये अलग बात है कि उन्हें पीने का शौंक नहीं…पीते हैं गम भुलाने को…।

 

लालबत्ती को ग्रीन सिग्नल

 

 

रायपुर दक्षिण विधानसभा चुनाव बड़ी मार्जिन से जीतकर बीजेपी अपना गढ़ बचाने में कामयाब रही और इस जीत के साथ कैबिनेट विस्तार, निगम-मंडलों में नियुक्ति की चर्चा फिर तेज हो गई। इसी बीच सीएम विष्णुदेव साय की दिल्ली में केन्द्रीय गृहमंत्री अमित शाह और राष्ट्रीय महामंत्री (संगठन) बीएल संतोष के साथ बैठक के बाद कयास लगाए जा रहे हैं कि जल्द की लिस्ट जारी हो सकती है।

सब कुछ ठीक रहा तो 16 दिसंबर से शुरु होने जा रहे विधानसभा के शीतकालीन सत्र से पहले कैबिनेट विस्तार हो सकता है। उसके बाद आधा दर्जन निगम-मंडलों की एक सूची जारी हो सकती है। इन सब पर फैसला इसी हफ्ते होने के आसार हैं।

खबरीलाल की माने तो दिसंबर में पार्टी में संगठन चुनाव के साथ नगरीय निकाय और पंचायतों में चुनाव भी कराना है। पार्टी संगठन में कुछ बड़े चेहरों को जगह देने की तैयारी है बाकी बचे लोगों को निगम मंडल में नियुक्ति मिल सकती है। ऐसे में अगर मामला आगे टला तो कैबिनेट विस्तार और निगम मंडलों में नियुक्ति के लिए होली तक इंतजार करना पड़ सकता है।

    ✍️अनिल द्विवेदी , ईश्वर चन्द्रा

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button