
जांजगीर-चांपा । छत्तीसगढ़ के जांजगीर में स्वास्थ्य व्यवस्था की लापरवाही ने फिर एक मासूम की जान को खतरे में डाल दिया। सांप के काटने से तड़पते एक बच्चे को परिजन जब सरकारी अस्पताल लेकर पहुंचे, तो वहां मौजूद स्टाफ नर्स ने गंभीरता से इलाज शुरू करने के बजाय कह दिया—”इसे प्राइवेट हॉस्पिटल ले जाओ!”
घटना के बाद अस्पताल में हड़कंप मच गया। मामले की जानकारी उच्चाधिकारियों तक पहुंची तो फौरन कार्रवाई की गई और दो स्टाफ नर्सों को सस्पेंड कर दिया गया है।
लापरवाही ने उधेड़ा भरोसे का सिस्टम
बताया जा रहा है कि बच्चा सांप के काटे जाने के बाद जीवन-मरण के बीच झूल रहा था, लेकिन सरकारी अस्पताल के स्टाफ की संवेदनहीनता ने इंसानियत को शर्मसार कर दिया। इलाज करने के बजाय उसे कहीं और ले जाने की सलाह देना, न केवल गैरजिम्मेदाराना है बल्कि पूरी स्वास्थ्य व्यवस्था पर सवालिया निशान खड़ा करता है।
प्रशासन सख्त, जांच के आदेश
जिला स्वास्थ्य अधिकारी ने तत्काल जांच के आदेश दे दिए हैं और कहा है कि दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी। दो नर्सों को निलंबित कर दिया गया है और अस्पताल स्टाफ को कड़े निर्देश दिए गए हैं कि किसी भी इमरजेंसी में कोई लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।