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Court Order : कोतवाली में महिला से मारपीट और अभद्रता का मामला…कोर्ट के आदेश पर FIR दर्ज

आरोपी महिला पुलिस अधिकारी पर पहले से है रिश्वत का मामला

रायपुर, 03 अगस्त। Court Order : राजधानी के कोतवाली थाना क्षेत्र में महिला यास्मीन बानो के साथ मारपीट, गाली-गलौज और अभद्र व्यवहार के मामले में कोर्ट के आदेश के बाद एफआईआर दर्ज की गई है। इस मामले में महिला थाना रायपुर की पूर्व टीआई वेदवति दरियो समेत अन्य पुलिसकर्मियों और एक निजी व्यक्ति को आरोपी बनाया गया है।

मिली जानकारी के अनुसार, यास्मीन बानो ने अपने पति और उसके परिजनों से पारिवारिक विवाद के चलते महिला थाना रायपुर में शिकायत की थी, जिस पर तीन बार काउंसलिंग कराई गई। लेकिन आरोप है कि थाना प्रभारी वेदवति दरियो ने एफआईआर दर्ज नहीं की। न्याय न मिलने पर पीड़िता ने पुलिस अधीक्षक, रायपुर को शिकायत सौंपी।

शिकायत के बाद यास्मीन को एफआईआर दर्ज कराने थाने बुलाया गया, जहां आरोपी सैय्यद आसिफ अली अपने साथियों देवेन्द्र सोनकर और भरत ठाकुर के साथ मौजूद था। इसी दौरान, पुलिस अधिकारी वेदवति दरियो ने पक्षपातपूर्ण रवैया अपनाया और यास्मीन की बात को अनसुना कर दिया। पीड़िता के अनुसार, सैय्यद आसिफ अली ने न सिर्फ उसे अपमानित किया, बल्कि उसके चरित्र पर भी लांछन लगाए।

जब यास्मीन की मां ने विरोध किया, तो दरियो ने बेल्ट निकाल ली और स्टाफ से डंडे मंगाए। इसके बाद शारदा वर्मा, फगेश्वरी कंवर समेत अन्य पुलिसकर्मियों ने पीड़िता और उसके परिजनों के साथ मारपीट की। हमले में यास्मीन के गर्दन और पीठ पर गंभीर चोटें आई हैं।

कोर्ट ने संज्ञान लेते हुए 3 जुलाई को न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी भूपेश कुमार बंसत की अदालत से धारा 156(3) के तहत निर्देश जारी किया, जिसके बाद कोतवाली पुलिस ने वेदवति दरियो, शारदा वर्मा, फगेश्वरी कंवर और सैय्यद आसिफ अली के खिलाफ धारा 294, 323, 506(2), 34 के तहत एफआईआर दर्ज की है। फिलहाल मामले की जांच जारी है।

पहले भी रिश्वत के आरोप में गिरफ्तार हो चुकी हैं टीआई वेदवति दरियो

गौरतलब है कि रायपुर महिला थाना की पूर्व टीआई वेदवति दरियो पहले भी भ्रष्टाचार के आरोपों में घिर चुकी हैं। उन्हें ACB ने दहेज प्रताड़ना मामले में एफआईआर दर्ज करने के नाम पर 20 हजार रुपये रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया था। शिकायतकर्ता प्रीति बंजारे से दरियो ने 50 हजार की रिश्वत मांगी थी, जिस पर ACB ने कार्रवाई कर उन्हें जेल भेजा था।

इस मामले में वेदवति दरियो की भूमिका एक बार फिर सवालों के घेरे में है, और महिला थाना की कार्यप्रणाली को लेकर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं।

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