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बैंक डूबने पर 5 लाख की इंश्‍योरेंस ल‍िम‍िट बढ़ाने की तैयारी, बैंकों को लगेगा 12000 करोड़ का झटका?

नेशनल डेस्क। अगर अभी कोई बैंक द‍िवाल‍िया होता है तो उसके खाते में जमा ग्राहकों के पैसे को डीआईसीजीसी (DICGC) के तहत कवर क‍िया जाता है. इसके तहत ग्राहकों को पांच लाख तक जमा राश‍ि बीमा के तहत कवर होती है. लेक‍िन प‍िछले द‍िनों न्‍यू इंड‍िया को-ऑपरेट‍िव बैंक (New India Cooperative Bank) का मामला सामने आने के बाद इंश्‍योरेंस ल‍िम‍िट बढ़ाने की तैयारी चल रही है. अब इस पर रेटिंग एजेंसी इक्रा ने कहा कि बैंक जमा पर इंश्‍योरेंस की ल‍िम‍िट बढ़ाए जाने से बैंकों के प्रॉफ‍िट पर ‘मामूली लेकिन उल्लेखनीय’ असर पड़ने की आशंका है.

पांच लाख की ल‍िम‍िट तेजी से बढ़ाने पर व‍िचार कर रही सरकार

फिलहाल किसी कस्‍टमर की पांच लाख रुपये तक की जमा राशि को जमा बीमा एवं ऋण गारंटी निगम (DICGC) के तहत कवर किया जाता है. निगम किसी बैंक के डूबने पर ग्राहकों के पैसे की सुरक्षा के लिए बैंकों से प्रीमियम इकट्ठा करता है. वित्तीय सेवा विभाग के सचिव एम नागराजू ने हाल ही में कहा है कि सरकार जमा बीमा की ल‍िमि‍ट को मौजूदा पांच लाख रुपये से बढ़ाने पर तेजी से विचार कर रही है. इससे जुड़ी जानकारी न्यू इंडिया कोऑपरेटिव बैंक में घोटाले के बीच आई.

 

प्रॉफ‍िट में 12000 करोड़ रुपये तक की कमी आएगी!

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने इस सहकारी बैंक को नए लोन जारी करने, जमा निकासी को निलंबित करने और बैंक के बोर्ड को हटाने के लिए कदम उठाए हैं. रेटिंग एजेंसी ने कहा कि न्यू इंडिया कोऑपरेटिव बैंक (New India Cooperative Bank) की नाकामी ने ड‍िपॉज‍िट इंयोरेंस की ल‍िम‍िट बढ़ाने पर विमर्श को बढ़ावा दिया होगा लेकिन इस तरह के कदम से बैंकों के प्रॉफ‍िट में 12,000 करोड़ रुपये तक की कमी आ सकती है.

 

इक्रा के वित्तीय क्षेत्र रेटिंग प्रमुख सचिन सचदेवा ने कहा, ‘ड‍िपॉज‍िट इंश्‍योरेंस की ल‍िम‍िट में संभावित वृद्धि होने से बैंकों की लाभप्रदता पर मामूली लेकिन उल्लेखनीय असर पड़ने की आशंका है.’ इस ल‍िम‍िट को पिछली बार फरवरी, 2020 में पीएमसी बैंक संकट के बाद एक लाख रुपये से बढ़ाकर पांच लाख रुपये किया गया था. इक्रा के अनुसार फाइनेंश‍ियल ईयर 2023-24 के अंत तक 97.8 प्रतिशत बैंक खाते पूरी तरह से कवर हो चुके थे क्योंकि उन खातों में जमा की गई राशि पांच लाख रुपये की ल‍िम‍िट के अंदर थी.

इसने कहा कि जमा राशि के मूल्य के हिसाब से 31 मार्च, 2024 तक बीमित जमा अनुपात (IDR) 43.1 प्रतिशत था. इस आईडीआर (IDR) में बदलाव से बैंकों के प्रॉफ‍िट पर प्रतिकूल असर पड़ता है क्योंकि उन्हें प्रीमियम के रूप में ज्‍यादा पैसा देना पड़ता है

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